जेल में कैदी चाहे जेबकतरा, हत्यारा अथवा दुष्कर्मी हो। उसे किसी प्रकार की बाहरी संसाधनों की कमी नहीं रहती। आए दिन इसका खुलासा होने के बाद भी जेल प्रशासन बेपरवाह रहता है। बुधवार को यह बात तब और पुख्ता हो गई जब यहां उम्रकैद की सजा काट रहे दो कैदियों का जेल के अंदर असलहा लहराते वीडियो वायरल हो गया। मामले पर डीएम ने जेल अधीक्षक को कड़ी फटकार लगाते हुए रिपोर्ट भी तलब करने की बात कही है।
जेल के अंदर असलहा लहराते और बैरिक में पार्टी मनाते बंदियों का वीडियो वायरल होने से अधिकारियों में हड़कंप मचा हुआ है। बुधवार शाम डीएम देवेन्द्र कुमार पाण्डेय, एसपी माधव प्रसाद वर्मा, एडीएम राकेश कुमार सिंह, एएसपी विनोद कुमार पाण्डेय, सीओ सिटी उमेश चंद्र त्यागी समेत आधा दर्जन अधिकारी जिला जेल पहुंच कर चप्पा-चप्पा खंगाला। डीएम ने जेल अधीक्षक एके सिंह व जेलर बृजेन्द्र सिंह को जमकर फटकार लगाई और लापरवाह कर्मियों की छानबीन कर रिपोर्ट पेश करने की बात कही है।
दोनों कैदियों का अपराधिक इतिहास
302 के मामले में मेरठ जेल में आजीवन कारावास की सजा काट रहे अमरेश को प्रशासनिक ट्रांसफर पर 31 मार्च 2017 को यहां जिला कारागार भेजा गया था। अमरेश पर 386 व 120 बी के कई केस दर्ज हैं। उधर, वायरल वीडियो में दूसरा अपराधी रायबरेली निवासी देव प्रताप सिंह गौरव उर्फ अंकुर को 11 फरवरी 2017 को लखनऊ से उन्नाव ट्रांसफर किया गया था। गौरव भी आजीवन कारावास की सजा काट रहा है। वायरल वीडियो में दोनों कैदियों की जेल की चहारदीवारी के अंदर खुलेआम असलहा व भोजन पार्टी का लुत्फ उठा रहे हैं।
खंगाल लिया चप्पा-चप्पा फिर रहे खाली हाथ
डीएम समेत आधा दर्जन अधिकारियों ने जेल का चप्पा चप्पा खंगाला। मगर कोई आपत्तिजनक वस्तु नहीं मिली। वायरल वीडियों के बंदियों से भी मुलाकात की और पूछताछ की। डीएम ने जेल अधीक्षक व जेलर को लापरवाही बरतने वाले कर्मियों की छानबीन करने का निर्देश दिया है।
कैदियों ने बांस की फंटी व मिट्टी का असलहा बनाया था
जेल अधीक्षक एके सिंह ने बताया कि बंदियों ने बांस की फंटी और मिट्टी का असलहा बनाया और उसी प्रदर्शन करते हुए वीडियो बनाकर वायरल करवा दिया। वह कर्मियों की लापरवाही स्वीकारते हुए साजिशन वीडियो वायरल किए जाने की बात कह रहे हैं। उन्होंने वायरल वीडियो मामले की रिपोर्ट डीजे जेल को भेजने की बात कही है।
दबाव बनाने को षड़यंत्र, 4 कर्मियों पर कार्रवाई
आईजी जेल आनंद कुमार ने देर शाम विज्ञप्ति जारी कर बताया कि रायबरेली थाना बछरावां हसनपुर निवासी गौरव उर्फ अंकुर अच्छा पेंटर है। अंकुर ने मिट्टी का तमंचा बनाया। इसी तमंचे का वीडियो वायरल किया गया है। खाने पीने की वस्तुएं जेल में बंदियों को दी जाने वाली नियमित खाद्य सामग्री है। पूरे प्रकरण की जांच में पता चला है कि कर्मियों की मदद से जेल प्रशासन पर दबाव बनाने के लिए दोनों कैदियों ने साजिश की। इसमें हेड जेल वार्डर माता प्रसाद, हेमराज व जेल वार्डर अवधेश साहू और सलीम खां की संलिप्तता पाई गई। इनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।